रिपोर्टर टेकराम कोसले
Masb news
बलौदाबाजार, 17 जुलाई 2025/ वन विभाग द्वारा बलौदाबाजार जिले के कसडोल ब्लॉक अंतर्गत वनांचल ग्राम अचानकपुर में ईको पर्यटन को कृषि पर्यटन से जोड़ने की अभिनव पहल की गई है। इस योजना के तहत देवहिल नेचर रिसॉर्ट के साथ स्थानीय कृषकों को परंपरागत फसलों जैसे कोदो, विष्णुभोग और दुबराज की जैविक खेती के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है।
वनमंडल अधिकारी गणवीर धम्मशील के मार्गदर्शन में एसीएफ (प्रशिक्षु) गजेन्द्र वर्मा, परिक्षेत्र अधिकारी संतोष कुमार पैकरा एवं बीएफओ योगेश सोनवानी द्वारा ग्रामीणों को योजना से जोड़ा जा रहा है। संयुक्त वन प्रबंधन समिति के माध्यम से ग्रामीणों को जैविक खेती के प्रति प्रेरित किया गया, जिससे न केवल वनों का संरक्षण संभव होगा, बल्कि स्थानीय आजीविका और पोषण सुरक्षा को भी बल मिलेगा।
यह क्षेत्र अब कृषि पर्यटन के रूप में उभर रहा है, जहाँ पर्यटक आकर परंपरागत कृषि पद्धतियों को प्रत्यक्ष रूप से देख, समझ और अनुभव कर सकेंगे। इससे न केवल जैविक उत्पादों की माँग बढ़ेगी, बल्कि स्थानीय संस्कृति और कृषि विरासत को भी नया जीवन मिलेगा।
जैविक खेती से जहाँ एक ओर मिट्टी की उर्वरता में वृद्धि होती है, वहीं रासायन मुक्त फसलें मानव स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी होती हैं। इन जैविक फसलों से तैयार खाद्य पदार्थों का उपयोग देवहिल नेचर रिसॉर्ट में पर्यटकों के लिए भोजन में किया जाएगा, जिससे कृषि-पर्यटन को नया आयाम मिलेगा।
ग्राम अचानकपुर के कृषक रामसिंह बरिहा, पानसिंह बरिहा, फूलसिंह बरिहा, रामायण बरिहा सहित अनेक किसानों ने उत्साहपूर्वक विष्णुभोग, दुबराज, कोदो एवं देशी अरहर की खेती की शुरुआत की है। उन्होंने जैविक पद्धति अपनाकर न केवल खाद्य सुरक्षा और पर्यावरण संतुलन की दिशा में योगदान दिया है, बल्कि परंपरागत खेती को पुनर्जीवित करने में भी अहम भूमिका निभाई है।